बिलासपुर : छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले में अंतरजातीय विवाह को लेकर एक पुलिस अधिकारी के परिवार को सामाजिक बहिष्कार का सामना करना पड़ रहा है। सरगुजा संभाग में पदस्थ डीएसपी मेखलेंद्र प्रताप सिंह ने दूसरे समाज की युवती से विवाह किया था, जिसके बाद उनके गांव के कुछ लोगों ने नाराजगी जाहिर करते हुए उनके परिवार का बहिष्कार कर दिया।
घटना कोटा थाना क्षेत्र के एक गांव की है, जहां डीएसपी के भाई-बहनों को प्रताड़ित करने और मानसिक दबाव बनाने के आरोप भी सामने आए हैं। परेशान होकर परिवार ने पुलिस से मदद की गुहार लगाई, जिसके बाद कोटा थाने में केस दर्ज किया गया है।
एएसपी अर्चना झा की पुष्टि
मामले की गंभीरता को देखते हुए एडिशनल एसपी अर्चना झा ने जांच की। उन्होंने बताया कि डीएसपी मेखलेंद्र प्रताप सिंह की शिकायत पर जांच की गई, जिसमें यह बात सामने आई कि कुछ लोग उन्हें सामाजिक रूप से बहिष्कृत करने और धमकाने की कोशिश कर रहे थे। शिकायत को सत्य पाए जाने पर वीरेंद्र कुमार सिंह, श्रवण सिंह, धर्मेंद्र पाल समेत अन्य के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
क्या है मामला?
जानकारी के मुताबिक, डीएसपी मेखलेंद्र प्रताप सिंह ने हाल ही में सामाजिक रीति-रिवाजों का पालन करते हुए दूसरे समाज की युवती से विवाह किया था। इस विवाह को लेकर गांव के कुछ लोगों ने विरोध जताया और नाराजगी के चलते परिवार का सामाजिक बहिष्कार कर दिया। यही नहीं, गांव में मौजूद परिजनों को मानसिक और सामाजिक रूप से प्रताड़ित भी किया जाने लगा।
कानून का सहारा बना सहारा
इस घटनाक्रम ने एक बार फिर सामाजिक कुरीतियों और जातिवाद की मानसिकता को उजागर कर दिया है, जिसमें एक कानून के रखवाले को भी सामाजिक अन्याय का शिकार होना पड़ा। फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और आरोपियों के खिलाफ जांच जारी है।